सर्जिकल स्ट्राइक के हीरो रिटायर्ड लेफ्टिनेंट जनरल डीएस हुड्डा की कार को वीआईपी काफिले में शामिल पंजाब पुलिस की एक गाड़ी ने टक्कर मारी है। हुड्डा का आरोप है कि टक्कर जानबूझकर मारी गई। इस मामले में अब पंजाब पुलिस एक्शन में आ गई है। डीजीपी गौरव यादव ने इस मामले में खेद जताया है।
स्पेशल डीजीपी ट्रैफिक एएस राय को जांच सौंपी है। वहीं, आज पुलिस द्वारा संबंधित वाहनों की पहचान कर कार्रवाई की जाएगी। दूसरी तरफ जरनल डीएस हुड्डा ने डीजीपी का धन्यवाद किया है। उन्होंने लिखा है कि आपके जवाब की मैं सराहना करता हूं। अगर उस व्यवहार की बात साबित करनी पड़ी, तो क्योंकि वहां डैश कैम नहीं था, मेरी बात पर ही भरोसा करना होगा।
पांच प्वाइंटों में जाने अब तक का सारा मामला
अंबाला की तरफ जा रहे थे: जनरल हुड्डा ने अपनी आपबीती अपने सोशल मीडिया अकाउंट ‘एक्स’ पर शेयर की। उन्होंने बताया कि बुधवार शाम 4 बजे वे अपनी पत्नी के साथ जीरकपुर फ्लाईओवर पर गाड़ी चला रहे थे। इस दौरान अंबाला की ओर जा रहे एक वीआईपी काफिले को एस्कॉर्ट करती दो पंजाब पुलिस की गाड़ियां पीछे से सायरन बजाते हुए आईं।
ओवरटेक कर जानबूझकर टक्कर मारी: हुड्डा ने बताया कि उन्होंने पहली गाड़ी को निकलने देने के लिए अपनी गाड़ी धीमी कर दी। भारी ट्रैफिक के कारण वीआईपी वाहन को निकलने में करीब तीन सेकंड ज्यादा लग गए। इससे पीछे आ रही एस्कॉर्ट जीप का चालक नाराज हो गया और बाईं ओर से ओवरटेक करते हुए जानबूझकर तेजी से दाईं ओर गाड़ी मोड़ दी, जिससे उनकी कार के अगले हिस्से में टक्कर लग गई।
इस तरह पुलिस वर्दी पर लगता है दाग: टक्कर मारने के बाद वह जीप बिना रुके तेज़ी से आगे निकल गई। यह पूरी तरह से जानबूझकर किया गया कदम था। न केवल वाहन को नुकसान हुआ, बल्कि भीड़भाड़ वाले रास्ते पर उनकी सुरक्षा की भी कोई परवाह नहीं की गई। जनरल हुड्डा ने लिखा कि जिन लोगों को कानून का रक्षक होना चाहिए, उनके इस तरह के अहंकार और लापरवाही से वर्दी और पूरे विभाग की साख पर दाग लगता है। उन्होंने उम्मीद जताई कि इस पर जल्द कार्रवाई होगी।
डरावना अनुभव, एक्शन होना चाहिए: लेफ्टिनेंट जनरल राकेश शर्मा ने प्रतिक्रिया देते हुए लिखा, “बहुत भयावह और डरावना अनुभव रहा होगा, सर! आशा है कि आप और श्रीमती हुड्डा कुशलपूर्वक होंगे।” वहीं, पंजाब के पूर्व स्पेशल चीफ सेक्रेटरी के.बी.एस. सिद्धू ने कहा, “हम ईमानदारी से आशा करते हैं कि इस लापरवाह कृत्य की जिम्मेदारी जल्द से जल्द तय की जाएगी।”
पंजाब डीजीपी ने जताया खेद: पंजाब के डीजीपी गौरव यादव ने इस मामले में कहा है कि इस दुर्भाग्यपूर्ण घटना से आपको और आपकी पत्नी को हुई तकलीफ के लिए हमें गहरा खेद है। ऐसा व्यवहार अस्वीकार्य है और पंजाब पुलिस के मूल्यों के विपरीत है। मैंने इस मामले पर स्पेशल डीजीपी ट्रैफिक एएस.राय से बात की है। संबंधित वाहनों और कर्मियों की पहचान के निर्देश जारी किए गए हैं। आप निश्चिंत रहें, मामले को गंभीरता से लिया जा रहा है और जिम्मेदारों के खिलाफ उचित कार्रवाई की जाएगी।
कर्नल बाठ से पार्किंग को लेकर हुआ विवाद
पटियाला में कर्नल पुष्पिंदर सिंह बाठ के साथ मारपीट का मामला मार्च 2025 में सामने आया था। देर रात एक ढाबे पर पार्किंग को लेकर विवाद के दौरान लगभग दर्जनभर पुलिसकर्मियों, जिनमें कुछ इंस्पेक्टर भी शामिल थे, ने कर्नल बाठ और उनके बेटे के साथ मारपीट की और फर्जी एनकाउंटर की धमकी दी।
घटना के उजागर होने के बाद पंजाब पुलिस ने 12 पुलिसकर्मियों को सस्पेंड किया था। मामले की गंभीरता को देखते हुए पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट के आदेश पर इसकी जांच सीबीआई को सौंप दी गई। मामला अभी भी जांच के अधीन है और सीबीआई द्वारा आगे की कार्रवाई जारी है।