संसद के शीतकालीन सत्र में 8 बिल पास:कांग्रेस का आरोप- शुरुआत टैगोर के और अंत महात्मा गांधी के अपमान से हुआ

संसद का शीतकालीन सत्र शुक्रवार को खत्म हुआ। 1 दिसंबर से शुरू हुआ सत्र 19 दिसंबर तक चला। केंद्र सरकार ने 14 बिल लाने की बात कही थी। विपक्ष का आरोप है कि 12 बिल ही पेश किए गए। दोनों सदनों से 8 बिल पास किए गए। 2 बिल कमेटी को भेजे गए। सरकार ने कुछ बिल पेश ही नहीं किए।

कांग्रेस सांसद जयराम रमेश ने आरोप लगाया- सत्र की शुरुआत रवींद्रनाथ टैगोर के अपमान से हुई और अंत महात्मा गांधी के अपमान के साथ हुआ। पीएम मोदी की रणनीति साफ थी, जो आधुनिक भारत बनाने वाले तीन लोगों (टैगोर, महात्मा गांधी और जवाहर लाल नेहरू) का अपमान करना था।

रमेश ने कहा- वंदे मातरम् पर बहस सरकार की नेहरू को बदनाम करने और इतिहास को तोड़ने-मरोड़ने पर थी। 1937 में टैगोर की सिफारिश पर ही CWC ने फैसला किया था कि वंदे मातरम् के पहले दो छंदों को राष्ट्रगान के रूप में गाया जाएगा। MGNREGA की जगह G RAM G बिल लाना महात्मा गांधी का अपमान है।

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