Farmer Protest: आंदोलन के 6 महीने पूरे, टीकरी, सिंघु और यूपी बॉर्डर पर ‘ब्लैक डे’ मना रहे किसान

तीनों केंद्रीय कृषि कानूनों के विरोध में पंजाब, यूपी और हरियाणा समेत कई अन्य राज्यों के किसानों का धरना प्रदर्शन बुधवार को 6 महीने पूरे कर गया। इस बीच किसान आंदोलन के छह माह पूरे होने पर किसान बुधवार को काला दिवस मना रहे हैं। संयुक्त किसान मोर्चा की ओर से आंदोलन के 6 महीने पूरे होने पर बुधवार को सभी किसानों से अपने घरों व वाहनों पर काले झंडे लगाने की अपील की गई है। इसके तहत देशभर के सभी धरनास्थलों पर किसान प्रदर्शनकारियों को काली पगड़ी व चुनरी पहनी जाएगी। आंदोलन के बाबत संयुक्त किसान मोर्चा के नेताओं की मानें को उन्हें मांग मनवाने के लिए सरकार पर दबाव बनाना जरूरी है। वहीं, प्रदर्शन पर भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश टिकैत का कहना है कि बुधवार को काला दिवस मनाने के लिए अधिक संख्या में किसान बॉर्डर पर पहुंच गए हैं। हम भी तिरंगा लेकर चल रहे हैं। अब 6 महीने हो गए हैं, लेकिन सरकार हमारी नहीं सुन रही है। इसलिए किसान काले झंडे लगा रहे हैं। प्रदर्शन शांतिपूर्ण तरीके से किया जाएगा। हम COVID प्रोटोकॉल का पालन कर रहे हैं। यहां कोई नहीं आ रहा है। लोग जहां हैं वहां झंडा फहरा रहे हैं। इस दौरान शारीरिक दूरी के नियम तार-तार हो रहे हैं।

राकेश टिकैत का एलान, जलाया जाएगा केंद्र सरकार का पुतला

भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत पहले ही बयान दे चुके हैं कि बुधवार को केंद्र सरकार का पुतला जलाया जाएगा। इसके अलावा ट्रैक्टर व घरों पर काला झंडा लगाया जाएगा। ये सुबह 9-10 बजे से शुरू हो गया है। राकेश टिकैत के एलान के मुताबिक, हम सिर्फ काले झंडे लगाएंगे। कोई भीड़-भाड़ या जनसभा नहीं होगी। कोई दिल्ली नहीं जा रहा है। लोग जहां भी होंगे वहीं झंडे लगाएंगे। अब 6 महीने हो गए हैं, सरकार ने काला कानून वापस नहीं लिया है, इसलिए किसान ब्लैक डे मना रहे हैं।

वहीं, कृषि कानूनों के विरोध में बुधवार को होने वाली रैली पर रोक लगाने की मांग को लेकर दायर याचिका पर दिल्ली हाई कोर्ट ने विचार करने से इनकार कर दिया। न्यायमूर्ति विपिन सांघी व न्यायमूर्ति जसमीत सिंह की पीठ ने कहा कि यह मामला सुप्रीम कोर्ट में लंबित है। ऐसे में अदालत इस पर कोई राय नहीं देगी। यह अदालत किसानों के आंदोलन से निपटने के लिए नहीं है।

कोरोना संक्रमण के मामलों पर सुनवाई कर रही पीठ के समक्ष अधिवक्ता धनंजय ग्रोवर ने बुधवार को होने वाली कृषि कानून विरोधी रैली का मामला उठाया और इस पर रोक लगाने का निर्देश देने की मांग की। उन्होंने दलील दी कि किसानों की रैली के चलते कई समस्याएं हो सकती हैं। इससे ऑक्सीजन की आपूर्ति भी प्रभावित हो सकती है। इस पर पीठ ने कहा कि ऑक्सीजन अपने रास्ते से दिल्ली पहुंच रही है, कोई भी इसके बीच में नहीं आएगा। धनंजय ग्रोवर ने कहा कि 26 मई को छह माह पूरे होने पर किसान राजधानी दिल्ली में विरोध मार्च निकालेंगे। फसल का मौसम खत्म होने से काफी संख्या में किसान इसमें भाग ले सकते हैं।