जायडस कैडिला की कोरोना वैक्सीन का ट्रायल लगभग पूरा, अगले महीने तक आ सकता है बच्चों का टीका

कोरोना वायरस के डेल्टा प्लस वेरिएंट के बढ़ते मामले और तीसरी लहर आने की संभावना के बीच बड़े-बूढ़ों के बीच तो वैक्सीनेशन ड्राइव को तेज किया ही गया है साथ ही बच्चों के लिए टीके की तैयारियां तेज कर दी गई हैं। कोविड वर्किंग ग्रूप के प्रेसीडेंट डॉ. एनके अरोड़ा ने रविवार को बताया कि जायडस कैडिला की वैक्सीन का ट्रायल लगभग पूरा हो चुका है। जुलाई के आखिर तक या अगस्त में हम 12 से 18 साल के बच्चों को टीका देना शुरू कर सकते हैं।

देर से आएगी तीसरी लहर

डॉ. एनके अरोड़ा ने कहा कि आईसीएमआर एक स्टडी लेकर आया है। जिसके मुताबिक तीसरी लहर देर से आने की संभावना है। तो अभी हमारे पास हर किसी के वैक्सीनेशन के लिए 6-8 महीने का वक्त है। हमारा टारगेट रोजाना 1 करोड़ डोज लगाने का है। इससे पहले एम्स चीफ रणदीप गुलेरिया ने कहा कि बच्चों के लिए वैक्सीन आना मील का पत्थर होगा। इससे स्कूलों को फिर से खोलने और आउटडोर एक्टिविटी शुरू करने का रास्ता खुलेगा।

बच्चों के लिए तीन वैक्सीन

– भारत बायोटेक की कोवैक्सीन के 2 से 18 साल के बच्चों पर हुए फेज 2 और 3 के ट्रायल के नतीजे सितंबर तक आने की संभावना है। ड्रग रेगुलेटर से मंजूरी के बाद बच्चों का टीका उस समय तक आ सकता है।

– इससे पहले अगर फाइजर की वैक्सीन को मंजूरी मिल जाती है तो यह भी बच्चों के लिए एक ऑप्शन हो सकता है।

– जायडस कैडिला भी अपनी वैक्सीन जायकोव-डी के इमरजेंसी यूज के अप्रूवल के लिए डीसीजीआई के पास अप्लाई कर सकती है। कंपनी का दावा है कि यह टीका बड़ों व बच्चों दोनों को दिया जा सकेगा। इसके तीन डोज कंपसलरी हैं।

25 करोड़ डोज चाहिए

बच्चों के वैक्सीनेशन के मुद्दे पर नीति आयोग के सदस्य डॉ. वीके पॉल ने हाल ही में कहा था कि यह ग्रूप कोई छोटा नहीं है। मेरा अनुमान है कि 12 से 18 साल उम्र के बच्चों की संख्या लगभग 13 से 14 करोड़ है। इसके लिए हमें 25-26 करोड़ डोज की जरूरत होगी।