म्यांमार के खराब होते हालातों के बीच रूस ने आसियान (एसोसिएशन ऑफ साउइथईस्ट एशियन नेशन) के पांच बिंदुओं का पुरजोर समर्थन किया है। आसियान की तरफ से म्यांमार की समस्या को सुलझाने के लिए ये पांच बिंदु सामने रखे गए थे। आसियान ने इनको लेकर पहले ही म्यांमार के सैन्य शासन और म्यांमार के विदेश मंत्रालय को जानकारी दे दी गई है।
रूस के विदेश मंत्री सर्गी लेवरॉव ने कहा कि म्यांमार में रूस के संपर्क में आए सैन्य शासन और उनके नेताओं को बताया गया है कि म्यांमार की समस्या का हल करने के लिए वो आसियान के बिंदुओं को ही आगे बढ़ाने का इच्छुक है। उन्होंने कहा कि आसियान के ये कदम म्यांमार के हालातों को सुधारने में सहायक साबित हो सकते हैं और स्थिति को सामान्य बनाने की दिशा में काम कर सकते हैं। सर्गी लेवरॉव ने ये बयान जकर्ता की यात्रा के दौरान दिया है। इंडोनेशिया के विदेश मंत्री के मुताबिक यहां पर वो आसियान के नेताओं से भी वर्चुअल बैठक करेंगे।
आपको बता दें कि 1 फरवरी 2021 को सेना ने म्यांमार की लोकतांत्रिक सरकार का तख्तापलट कर सत्ता अपने हाथों में ले ली थी। इसके बाद से ही म्यांमार में सुरक्षाबलों और लोगों के बीच संघर्ष की स्थिति बनी हुई है। इस संघर्ष में अब तक 800 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है। संयुक्त राष्ट्र की रिपोर्ट के मुताबिक म्यांमार से करीब 10 हजार से अधिक लोगों ने अपने पड़ोसी देशों के यहां पर शरण ली है। भारत में ही 7 हजार से अधिक शरणार्थी म्यांमार से जानबचाकर दाखिल हुए हैं। म्यांमार से लगते राज्य मिजोरम की सरकार इन लोगों को खाने पीने और रहने की सुविधा प्रदान कर रही है।
इस बीच दो दिन पहले ही सैन्य शासन की तरफ से दिए गए आदेश के बाद विभिन्न जेलों से करीब दो हजार लोगों की रिहाई की गई है। इनमें म्यांमार के कई जाने माने लोग भी शामिल हैं। हालाकि राजनीतिक बंदियों की रिहाई को लेकर अब भी पूरा विश्व म्यांमार पर दबाव बना रहा है, जिसका अब तक कोई असर होता दिखाई नहीं दिया है। म्यांमार की सरकार की प्रमुख आंग सांग सू की पर सैन्य शासन की तरफ से गंभीर आरोप लगाए गए हैं।