दिल्ली में सात साल में बने 27 फ्लाईओवर, जनता को मिल रही मंत्री व अधिकारियों वाली सुविधाएं: केजरीवाल

राजधानी में जिस तरह से जनसंख्या का दबाव बढ़ रहा है, ढांचागत विकास की जरूरत अधिक महसूस हो रही है। पिछले सात वर्षो में दिल्ली के ढांचागत विकास से संबंधित कई योजनाएं बनी और आगे बढ़ी हैं। इनमें कुछ जमीन पर भी उतरी हैं। इस सब के बीच सात साल में 27 फ्लाईओवर बने हैं और सात को बनाने का काम चल रहा है। इसी तरह अब तक दिल्ली में 34 फुट ओवरब्रिज बने हैं और 13 निर्माणाधीन हैं। इन पर यातायात शुरू हो जाने से जनता को कुछ हद तक जाम से निजात मिली है। दिल्ली सरकार का दावा है कि उक्त परियोजनाओं में करोड़ों की राशि भी बचाई गई है।

ढांचागत विकास की बात करें तो सबसे अंत में अक्टूबर 2020 में शास्त्री पार्क और सीलमपुर फ्लाईओवर को जनता को समर्पित किया गया है। छह लेन वाले शास्त्री पार्क फ्लाईओवर और दो लेन वाले सीलमपुर फ्लाईओवर के बनने से इस रूट पर लगने वाले जाम से लोगों को राहत मिली है। इन फ्लाइओवर से अब आइएसबीटी से लेकर यूपी बार्डर तक का सफर 10 मिनट में तय किया जा रहा है। इसमें पहले तीस मिनट लगते थे। इसके पहले जुलाई 2019 में राव तुलाराम फ्लाईओवर जनता को समर्पित किया गया था।

इन परियोजनाओं में बचाए गए पैसे

  • मधुबन चौक से मुकरबा चौक कारिडोर को 422 करोड़ की जगह 297 करोड़ रुपये में बनाया गया। इसमें 125 करोड़ रुपये की बचत
  •  मंगोलपुरी से मधुबन चौक फ्लाईओवर का काम 423 करोड़ की जगह 323 करोड़ रुपये में हुआ। इसमें 100 करोड़ रुपये की बचत
  • विकासपुरी से मीराबाग एलिवेटेड कारिडोर को 560 करोड़ की जगह 460 करोड़ में पूरा कर 100 करोड़ रुपये की बचत
  •  प्रेमबाड़ी पुल से आजादपुर कारिडोर को 247 करोड़ की जगह 137 करोड़ में बनाया गया। इसमें 110 करोड़ रुपये की बचत
  •  शास्त्री पार्क और सीलमपुर में फ्लाईओवर को 303 करोड़ की जगह 250 करोड़ में पूरा किया गया। इसमें 53 करोड़ रुपये की बचत
  •  जगतपुरी फ्लाईओवर 80 करोड़ की जगह 72 करोड़ में बना। इसमें 8 करोड़ रुपये बचे
  •  भलस्वा फ्लाईओवर 65 करोड़ की जगह 45 करोड़ में बना। इसमें 20 करोड़ रुपये की बचत
  •  बुराड़ी फ्लाईओवर 57 करोड़ के बजाय 42 करोड़ में बनाकर 15 करोड़ रुपये बचाए गए
  •  मुकुंदपुर चौक फ्लाईओवर 62 करोड़ की जगह 50 करोड़ में बना
  • मयूर विहार फेज-एक फ्लाईओवर को 50 करोड़ की जगह 45 करोड़ में बनाया
  • प्रगति मैदान सुरंग सड़क से आइटीओ क्षेत्र में राहत
  • 1.2 किलोमीटर लंबी सुरंग सड़क और छह अंडरपास आइटीओ इलाके को जाम से मुक्ति दिलाने वाली योजना के हिस्सा हैं। इसमें चार अंडरपास मथुरा रोड के हैं, जिनसे मथुरा रोड पर आइटीओ डब्ल्यू प्वाइंट से डीपीएस स्कूल तक करीब तीन किलोमीटर मार्ग सिग्नल फ्री हो जाएगा। इस मार्ग पर छह लालबत्ती बंद होंगी। एक ओर रिंग रोड और भैरों मार्ग का अंडरपास है। सुरंग सड़क प्रगति मैदान के नीचे जाती है, जो पुराना किला रोड से शुरू होकर प्रगति पावर स्टेशन के पास रिंग रोड पर समाप्त होती है। इस परियोजना से ट्रैफिक जाम से राहत की उम्मीद है। इस सुरंग के शुरू होने से आइटीओ क्षेत्र में विकास मार्ग पर वाहनों का दबाव कम हो जाएगा, क्योंकि अशोक रोड, मंडी हाउस की ओर से आइटीओ होकर यमुनापार आने जाने वाले वाहन वाहन सुरंग सड़क का उपयोग करेंगे। इससे भैरों मार्ग पर भी यातायात की भीड़ कम होगी। मथुरा रोड के चार अंडरपास में से सुंदर नगर और काका नगर के तैयार हैं। मटकापीर का बचा हुआ काम 15 मार्च पर पूरा होगा और मार्च के अंत तक सुप्रीम कोर्ट अंडरपास भी तैयार हो जाएगा। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से इसका उद्घाटन कराए जाने की योजना है। इसका निर्माण कार्य 2017 में शुरू हुआ था और पहली समय सीमा मार्च 2019 थी।

मार्च में आश्रम चौक अंडरपास का काम हो जाएगा पूरा

आश्रम चौक अंडरपास का काम भी अब अंतिम चरण में है। इसके शुरू हो जाने से इंडिया गेट से बदरपुर की ओर आने जाने वालों को लाभ मिलेगा। दिल्ली के साथ-साथ हरियाणा के वाहन चालकों को भी सुविधा होगी। आश्रम अंडरपास के अगले महीने खुलने की उम्मीद है। 750 मीटर लंबाई वाले अंडरपास के निर्माण से आश्रम चौक पर भीड़भाड़ कम होने की उम्मीद है। परियोजना की देखरेख कर रहे पीडब्ल्यूडी के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि मार्च की शुरुआत में अंडरपास को यातायात के लिए खोल दिया जाएगा। अंडरपास की आधारशिला 24 दिसंबर 2019 को रखी गई थी और पहली समय सीमा दिसंबर 2020 निर्धारित की गई थी।

बेनितो हुआरेज मार्ग अंडरपास खुलेगा मार्च के अंत तक

बेनितो हुआरेज मार्ग पर बन रहा अंडरपास मार्च के अंत तक खोल दिया जाएगा। इस मार्ग से सेंट मार्टिन मार्ग सीधे जा सकेंगे। यहां से अंडरपास में जाने पर सेंट मार्टिन मार्ग और एयरपोर्ट की तरफ रिंग रोड पर भी जा सकेंगे। अंडरपास से एयरपोर्ट की ओर से आने वाले वीआइपी मूवमेंट को रिंग रोड पर राव तुलाराम फ्लाईओवर के नीचे लगने वाली जाम से राहत मिलेगी। एयरपोर्ट की ओर से आकर यहां दाहिने मुड़ने वाला यातायात इस मार्ग से अंडरपास से सेंट मार्टिन मार्ग होते हुए निकल जाएगा। अंडरपास से राव तुलाराम फ्लाईओवर के नीचे के यातायात को भी कम किया जा सकेगा।

अगले माह यानी मार्च से दिल्ली को कुछ हद तक जाम से मुक्ति मिलने जा रही है। दो बड़े इलाकों में जाम की समस्या कम हो जाएगी। चालू होने जा रही प्रगति मैदान सुरंग सड़क जहां आइटीओ इलाके को जाम से मुक्ति दिलाएगी, वहीं आश्रम अंडरपास के शुरू होने से इंडिया गेट से बदरपुर की ओर आना-जाना आसान हो जाएगा। मार्च में दिल्ली के विकास से संबंधित वे परियोजनाएं पूरी हो रही हैं, जिनकी दिल्ली की जनता पिछले कई साल से उम्मीद लगाए बैठी है। इससे यातायात जाम से राहत मिलेगी और समय व वाहन के ईंधन की बचत होगी।

  • पहले हर काम में भ्रष्टाचार होता था। अधिकारी से लेकर कर्मचारी तक और संतरी से लेकर मंत्री तक इसका हिस्सा थे। इससे कम लागत वाले प्रोजक्ट भी बहुत ज्यादा लागत के हो जाते थे। जब से हमने दिल्ली की कमान संभाली है, यहां चल रहे प्रोजक्ट को समय से पहले पूरा किया है और टैक्स के रूप में जनता से मिले करोड़ों रुपये को बचाया है। इन्हीं पैसों से दिल्ली की जनता को मुफ्त बिजली, पानी, शिक्षा और स्वास्थ्य जैसी बुनियादी सुविधाएं दी जा रही हैं। आप सरकार दिल्ली में भ्रष्टाचार पर लगाम लगाकर जनता को मंत्री और अधिकारियों वाली सुविधाएं दे रही है। अरविंद केजरीवाल, मुख्यमंत्री दिल्ली सरकार