नई दिल्ली-कालका चलने वाली शताब्दी एक्सप्रेस अपग्रेड:मेट्रो की तरह खुलेंगे और बंद होंगे दरवाजे; हादसों में कमी लाने के लिए किया बदलाव

नई दिल्ली-कालका चलने वाली शताब्दी एक्सप्रेस को अपग्रेड किया गया है। 12005/06 नंबर ट्रेन के दरवाजे अब मेट्रो ट्रेन की तरह खुलेंगे और बंद भी होंगे। ट्रेन के प्लेटफार्म से निकलने से पहले ही दरवाजे खुद ब खुद बंद हो जाएंगे, जिन्हें खोलना यात्री के लिए नामुमकिन होगा।

सुरक्षा की दृष्टि से यह बदलाव किया गया है ताकि शताब्दी में बढ़ रही चोरी व छीना-झपटी की वारदातों को रोका जा सके। इससे पहले शताब्दी में सुरक्षा को लेकर दरवाजों पर और मुख्य जगह सीसीटीवी कैमरे लगाए गए थे। रेलवे अधिकारी ने बताया कि नई दिल्ली-कालका शताब्दी एक्सप्रेस के रेक को अपग्रेड कर दिया गया है।

ऑटोमैटिक डोर सिस्टम का रेट्रो फिटमेंट लगा
शताब्दी एक्सप्रेस के एलएचबी डिब्बों में 27 सितंबर को ऑटोमैटिक डोर सिस्टम का रेट्रो फिटमेंट लगाया गया है। प्लेटफॉर्म की तरफ का मुख्य दरवाजा ट्रेन के स्टॉपेज पर खुलेगा। ट्रेन के स्टेशन से निकलते ही दरवाजा अपने आप बंद हो जाएगा। रेलवे ने शताब्दी एक्सप्रेस ट्रेन में यह नई प्रणाली लागू की है। संभावना है कि यात्री ट्रेन के प्रस्थान से पहले ट्रेन में नहीं चढ़ सकेंगे।

स्पीड पर पुश बटन हो जाएगा अलग
ट्रेन के अंदर सह यात्री अलार्म चेन खींचने का सहारा ले सकेंगे। जब ट्रेन 5 किमी/ घंटा से ऊपर होगी। तब मुख्य दरवाजे के अंदर और बाहर दिए गए आपातकालीन पुश बटन अलग हो जाएंगे। ट्रेन के चलने के दौरान दरवाजे नहीं खोले जा सकेंगे। आपात स्थिति में मुख्य द्वार खोलने के लिए पहले ट्रेन को अलार्म चेन खींचकर रोकना पड़ता है। इसके बाद आपातकालीन पुश बटन दबाया जा सकेगा और दरवाजा खोला जा सकता है।

ट्रेन के अपग्रेड के प्रति यात्री होंगे जागरूक
किसी भी अनहोनी से बचने के लिए आम जनता को जागरूक किया जाएगा। इसके लिए अंबाला छावनी, चंडीगढ़ और अंबाला मंडल के कालका स्टेशनों पर नियमित घोषणा की जाएगी। ट्रेन चलाने वाले कर्मचारियों को भी सतर्क रहने की सलाह दी गई है। आवश्यक सहयोग प्रदान करने के लिए रेलवे सुरक्षा बल की सहायता भी मांगी गई है।

अंबाला डिवीजन के वरिष्ठ मंडल वाणिज्य प्रबंधक हरि मोहन ने बताया कि दिल्ली-कालका शताब्दी एक्सप्रेस ट्रेन को अपग्रेड किया गया है। यात्री चलती ट्रेनों से चढ़ते उतरते थे। जिस कारण हादसा हो जाता है। लेकिन अब ट्रेन की डोर ऑटोमैटिक होंगे। जो ट्रेन चलने पर बंद हो जाएंगे और स्टेशन आने बाद खुल जाएंगे।

गार्ड के लिए सुरक्षित बटन
रनिंग में गार्ड को कभी भी डोर खोलना पड़ता है। ऐसे में गार्ड के लिए अलग से बटन सेट किए गए हैं। बॉक्स में ऊपर के बटन गार्ड के लिए हैं। यह बटन सुरक्षित हैं। रेड कलर का बटन रीसेट का बटन है। इससे प्रेशर बिल्डअप होगा। इससे दरवाजे ऑपरेट होंगे। येलो बटन बंद करने के लिए है। स्क्रीन में यदि ग्रीन कलर है तो दरवाजा ओपन है। पीला है बंद होगा।

पैसेंजर्स के लिए कुछ ध्यान देने वाली बातें…

  • यह ट्रेन स्वचालित मुख्य द्वार खोलने और बंद करने की प्रणाली के साथ उपलब्ध है।
  • प्लेटफार्म से ट्रेन निकलने से पहले सभी मुख्य द्वार बंद कर दिए जाएंगे। इसलिए यात्रियों से अनुरोध कि वे प्रस्थान के समय से पहले प्रवेश करें अथवा नीचे उतरें।
  • जब ट्रेन की गति 5 किमी/घंटा से अधिक होगी, तो मुख्य द्वार के अंदर व बाहर दिए गए आपातकालीन पुश बटन निष्क्रिय हो जाएंगे और ट्रेन के चलने के दौरान मुख्य द्वारा नहीं खोले जा सकेंगे।
  • किसी भी आपातकालीन स्थिति में, मुख्य द्वार खोलने के लिए पहले ट्रेन को अलार्म चैन खींचने पर रोका जा सकेगा। उसके बाद आपातकालीन पुश बटन को दबा सकेंगे। इसके बाद मुख्य द्वार खुल जाएगा।