विदा ई-स्कूटर आज 1 बजे लॉन्च होगी:हीरो मोटोकॉर्प का नया ऑल-इलेक्ट्रिक ब्रांड है विदा, जानिए इसके आने से कैसे बदल जाएगा ईवी मार्केट?

हीरो मोटोकॉर्प आज दोपहर 1 बजे अपने नए ईवी ब्रांड विदा के तहत अपना पहला इलेक्ट्रिक स्कूटर लॉन्च करेगा। विदा हीरो मोटोकॉर्प के तहत एक नया लोगो और पहचान के साथ एक नया ऑल-इलेक्ट्रिक ब्रांड है। ये स्कूटर स्वैपेबल बैटरी टेक्नोलॉजी और मल्टीपल चार्जिंग ऑप्शन्स के साथ आएगा। स्वैपेबल बैटरी पैक के लिए हीरो ने ताइवान की कंपनी गोगोरो के साथ स्ट्रैटजिक पार्टनरशिप की है, जो स्वैपेबल बैटरी टेक्नोलॉजी में विशेषज्ञता रखती है।

एथर एनर्जी के साथ पार्टनरशिप
हीरो मोटोकॉर्प की एथर एनर्जी के साथ भी पार्टनरशिप है जो उसके चार्जिंग नेटवर्क और इक्विपमेंट ऑफर कर सकती है। हीरो ने अपने एक हालिया ट्वीट में कहा था, ‘अब आप अपने इलेक्ट्रिक स्कूटर को घर पर, पार्किंग लॉट पर और हमारे पब्लिक चार्जिंग स्टेशनों पर चार्ज कर सकते हैं।’ फर्स्ट फेज में बेंगलुरु, दिल्ली और देश के 7 अन्य शहरों में चार्जिंग स्टेशन मिलेंगे। इन चार्जिंग स्टेशन पर DC और AC दोनों ही तरह के चार्जिंग ऑप्शन की सुविधा मिलेगी।

दो रेंज में आएंगे विदा स्कूटर
विदा V1 स्कूटर को दो रेंज और परफॉर्मेंस वेरिएंट विदा V1 प्ल्स और Vida V1 प्रो में पेश किया जाएगा। इनमें से एक किफायती और एक प्रीमियम वैरिएंट होगा। इसी हिसाब से इनकी कीमत भी होगी। दोनों स्कूटर पर सरकार की FAME-II सब्सिडी मिलेगी। इस योजना के तहत ग्राहकों को EV की खरीद के समय ही बड़ा डिस्काउंट दिया जाता है। हीरो मोटोकॉर्प अपने इस स्कूटर की लॉन्चिंग को दो बार टाल चुका है अब त्योहारी सीजन में इसे लॉन्च किया जा रहा है।

स्कूटर डेवलपमेंट में 25,000 घंटे लगे
स्पैनिश में विदा का मतलब लाइफ होता है। इस मॉडल को कंपनी के जयपुर बेस्ड R&D सेंटर पर डिजाइन और डेवलप किया गया। हीरो को अपने इस इलेक्ट्रिक स्कूटर को डेवलप करने में 25,000 घंटे लगे हैं। ये ई-स्कूटर ओला S1, टीवीएस iQube, एथर 450X, हीरो इलेक्ट्रिक फोटोन और बजाज चेतक जैसे ई-स्कूटर्स के सामने बड़ी चुनौती पेश करेगा। इनमें, ज्यादातर गाड़ियों की टॉप 60 से 90 किमी के बीच है। ऐसे में देखना इंटरेस्टिंग होगा कि विदा की टॉप-स्पीड कितनी होगी।

2025 तक 50 लाख पर होगा ई-टू व्हीलर मार्केट
मैकिन्से के अनुसार, भारतीय ई-टू व्हीलर मार्केट 2025 तक 45-50 लाख तक पहुंच जाएगा, जो कुल बाजार का 25%-30% और 2030 तक नौ मिलियन होगा। पिछले कुछ महीनों में दोपहिया वाहनों में भारी उछाल देखा गया है। TVS, एम्पियर इलेक्ट्रिक, एथर एनर्जी, हीरो इलेक्ट्रिक जैसी कंपनियों ने हाल ही में 1000 करोड़, 700 करोड़, 636 करोड़ और 700 करोड़ के निवेश का प्लान किया हैं। इस अवसर का लाभ उठाने के लिए कई स्टार्टअप इस क्षेत्र में उभरे हैं।

25000 से बढ़कर 143000 यूनिट पर पहुंची बिक्री
पिछले पांच वर्षों में ई-टू-व्हीलर की बिक्री 25000 यूनिट से बढ़कर 143000 यूनिट तक पहुंच गई है। इस साल यह संख्या आसानी से 2 लाख यूनिट को पार कर जाएगी। FY22 की पहली तिमाही में पिछले वर्ष की समान अवधि में 1,950 यूनिट के मुकाबले लगभग 10,072 इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहनों की बिक्री हुई थी। हीरो इलेक्ट्रिक का दावा है कि वह हर महीने करीब 4500 यूनिट्स बेच रही है।

ऑटो दिग्गजों का इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर स्पेस में निवेश
हीरो मोटोकॉर्प और बजाज ऑटो जैसे दिग्गजों ने भी इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर स्पेस में निवेश किया है। वहीं कैब सर्विस देने वाली कंपनी ओला ने पिछले साल तमिलनाडु में अपनी पहली मेगा इलेक्ट्रिक स्कूटर फैक्ट्री स्थापित करने के लिए 2,400 करोड़ रुपए का निवेश किया। ओला का दावा है कि वह अपनी फैक्ट्री में सालाना 10 मिलियन वाहनों की कैपेसिटी बनाएगी। ओला अभी अपने S1 और S1 प्रो नाम से दो स्कूटर मार्केट में बेचता है।

इलेक्ट्रिक व्हीकल से जुड़ी तीन बड़ी आशंकाएं
इंडियन कंज्यूमर्स में इलेक्ट्रिक व्हीकल से जुड़ी तीन बड़ी आशंकाएं हैं। पहला तो ये है कि इनकी कीमत काफी ज्यादा है। दूसरी बात ये है कि इनके विकल्प बड़े सीमित हैं। हालांकि, अब इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर बड़ी संख्या में मार्केट में उतारे जा रहे हैं। ग्राहकों की तीसरी चिंता इससे जुड़े इंफ्रास्ट्रक्चर की कमी का होना है। मतलब ये कि भारत में अभी भी इलेक्ट्रिक व्हीकल को चार्ज करने की फैसिलिटी बहुत कम है। अभी ज्यादातर लोग घर में ही अपनी स्कूटर को चार्ज करते हैं।

हीरो मोटोकॉर्प के ई-स्कूटर से कैसे बदलेगा मार्केट?
हीरो मोटोकॉर्प टू व्हीलर स्पेस में बहुत ही जाना-माना नाम है। जिस तरह से कार में मारुति डॉमिनेट करता है, कुछ-कुछ वैसा ही टू व्हीलर्स में हीरो मोटोकॉर्प है। हीरो ने 1985 में अपनी पहली मोटरसाइकिल सीडी 100 लॉन्च की थी। इसे जापान की कंपनी होंडा के साथ जॉइंट वेंचर में लॉन्च किया गया था। सीडी 100 और अन्य मॉडलों की सफलता ने हीरो को साल 2001 में दुनिया में मोटरसाइकिल और स्कूटर का सबसे बड़ा मेंकर बनने में मदद की।

बाद में हीरो और होंडा दोनों अलग हो गई। इसके बावजूद आज भी हीरो के पास भारत के टू व्हीलर मार्केट में 37% (यूनिट के अनुसार) का कमांडिंग हिस्सा है, जो होंडा से काफी आगे है। होंडा के पास 25% मार्केट है। अब बाजार बदल रहा है और मार्केट का फोकस इलेक्ट्रिक व्हीकल पर बढ़ रहा है। हीरो मोटोकॉर्प से पहले दर्जनों कंपनियां अपने इलेक्ट्रिक व्हीकल बाजार में उतार चुकी है और उसे टू-व्हीलर मार्केट में कड़ी टक्कर दे रही है।

हालांकि हीरो का भी लगातार नए मॉडल पेश करने का इतिहास रहा है। कंपनी के चेयरमैन और CEO पवन मुंजाल इस चुनौती पर कहते है, ‘मुझे विश्वास है कि हीरो मोटोकॉर्प न केवल बदलाव ला सकता है बल्कि उभरते ईवी बाजार को डॉमिनेट कर सकता है। हमारे पास क्षमता है, हमारे पास ताकत है, हमारे पास ईवी लीडर बनने के लिए वित्तीय ताकत भी है।’ EV मार्केट में भले ही दर्जनों कंपनियों हो, लेकिन फिर भी लोग अभी इसे अपनाने के लिए पूरी तरह से तैयार नहीं है।

हीरो मोटोकॉर्प के ई-स्कूटर के आने से लोगों का भरोसा बढ़ेगा और ज्यादा लोग इसे अपनाने के लिए तैयार होंगे। हीरो मोटोकॉर्प ने अपने विदा स्कूटर को नॉट फर्स्ट इलेक्ट्रिक स्कूटर के रूप में पोजीशन किया है। इसके जरिए वो लोगों की इलेक्ट्रिक स्कूटर से जुड़ी सेफ्टी की चिंताओं को दूर करना चाहती है। हीरो मोटोकॉर्प की ये पोजीशनिंग उसे लोगों का भरोसा जीतने में मदद करेगी। ये ई-स्कूटर मार्केट को पूरी तरह से बदल सकता है।

हीरो मोटोकॉर्प के लिए चुनौती
ईवी सेक्टर में मुंजाल के सबसे बड़ा कॉम्पिटिशन उनके भतीजे नवीन मुंजाल है जो हीरो इलेक्ट्रिक व्हीकल्स नाम से एक पूरी तरह से अलग कंपनी चलाते हैं। ये कंपनी बाजार हिस्सेदारी के हिसाब से इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर्स में भारत का मार्केट लीडर है। लगभग एक दर्जन अलग-अलग वेरिएंट के साथ, हीरो इलेक्ट्रिक ने पिछले साल 50,000 से अधिक ईवी बेचे।

हीरो इलेक्ट्रिक के चीफ एग्जीक्यूटिव सोहिंदर गिल का कहना है कि हीरो मोटोकॉर्प जैसे बड़े खिलाड़ी का प्रवेश साबित करता है कि एक वास्तविक बदलाव हो रहा है और यह केवल बाजार का विस्तार करेगा। नवीन मुंजाल का दावा है कि वह 2001 में परिवार के हीरो साइकिल्स के पहले इलेक्ट्रिक मॉडल के निर्माण में प्रेरक शक्ति रहे हैं। हीरो मोटोकॉर्प को हीरो इलेक्ट्रिक के अलावा टीवीएस, ओला स्कूटर, ओकिनावा जैसी कंपनीयों से भी कड़ी टक्कर मिलेगी।

हीरो इलेक्ट्रिक ब्रांड का उपयोग नहीं कर सकती हीरो मोटोकॉर्प
हीरो मोटोकॉर्प अपने किसी भी इलेक्ट्रिक वाहन पर हीरो इलेक्ट्रिक ब्रांड का उपयोग नहीं कर सकती है। यह असामान्य स्थिति 2010 से उत्पन्न हुई, जब मुंजालों ने परिवार के स्वामित्व वाले हीरो ग्रुप को चार में विभाजित कर दिया। पवन ने ज्वेल जेवी हीरो होंडा (2011 में हीरो मोटोकॉर्प का नाम बदलकर) रखा, जबकि नवीन के परिवार को अपनी कंपनी और उत्पादों पर हीरो इलेक्ट्रिक का उपयोग करने का अधिकार मिला।