सोनीपत और बद्दी के बाद जानलेवा कफ सिरप कंपनी का पानीपत कनेक्शन उजागर हुआ है। मेडन फार्मास्यूटिकल्स कंपनी का एक यूनिट पानीपत में भी है। हालांकि यह किसी दूसरे नाम से चल रहा है। इसका खुलासा होने के बाद पानीपत के सेक्टर 25 में बने प्लांट की भी जांच की गई। वहीं इस मामले में कंपनी के डायरेक्टर विवेक गोयल से भी पूछताछ हुई है।
विवेक के जांच ज्वाइन करने के बाद टीम ने उनसे कई तरह के डॉक्यूमेंट्स कलेक्ट किए हैं। जो शक के घेरे में आए कफ सिरप से जुड़े हुए हैं। वहीं कंपनी के गेट पर मेडिसिन कंट्रोल एजेंसी (MCA) ने नोटिस भी चिपका दिया है।
सैंपल जांच के लिए भेजे गए
ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया (DCGI) और फूड एंड ड्रग एडमिनिस्ट्रेशन (FDA) की एक संयुक्त टीम लगातार इस मामले पर नजर बनाए हुए है। कंपनी के डायरेक्टर और सह डायरेक्टर को गांबिया सरकार की ओर से भी इस मामले में नोटिस भेज कर जवाब मांगा गया है। सरकार इस कंपनी के प्लांट से 5 सैंपल लेकर उन्हें जांच के लिए कोलकाता की सेंट्रल लेबोरेटरी भी भेज चुकी है।
केंद्रीय टीमें लगातार इस मामले में जांच कर रही हैं, जबकि स्टेट ड्रग कंट्रोलर के अधिकारी चुप्पी साधे हुए हैं। उनका कहना है कि जब तक सैंपल के नमूनों की रिपोर्ट नहीं आ जाती, तब तक कंपनी के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की जा सकती। हालांकि हरियाणा के राज्य मंत्री अनिल विज खुद इस मामले पर नजर बनाए हुए हैं। उनका कहना है कि जांच जारी है, जल्द ही मामले से पर्दा उठ जाएगा।
WHO के अलर्ट के बाद जारी जांच में कंपनी के पानीपत के सेक्टर-25 में प्लांट होने का खुलासा हुआ है। ऐसे में मामले को लेकर पानीपत की स्थानीय पुलिस भी एक्टिव हुई है। जिले के अधिकारियों ने प्लांट का दौरा करके हालातों का जायजा लिया। साथ ही मौके पर पुलिस का पहरा भी बढ़ा दिया है। बताया जा रहा है कि जल्द ही केंद्रीय टीमें इस प्लांट का भी दौरा करेंगी।
इन देशों में कफ सिरप की सप्लाई
1990 में रजिस्टर्ड कंपनी की एशिया के कई देशों में दवाओं की सप्लाई है। इनमें अफ्रीका, दक्षिण अमेरिका और दक्षिण पूर्व एशिया प्रमुख देश शामिल हैं। WHO द्वारा अलर्ट जारी करने के बाद कंपनी की जांच जारी है। जांच में यह कहा जा रहा है कि कंपनी के कफ सीरप को संभावित रूप से गांबिया में बच्चों की मौत से जोड़ा जा सकता है।
ओरिजिनल डॉक्यूमेंट मांगे
केंद्रीय टीमों ने कंपनी के 4 डॉयरेक्टरों में शामिल विवेक गोयल से पूछताछ की है। टीम में शामिल अधिकारियों ने कच्चे माल की खरीद, कंपनी द्वारा निर्मित दवाइयों की बिक्री और निर्यात किए गए स्टॉक के संबंध में ओरिजिनल डॉक्यूमेंट मांगे हैं। उनसे रॉ मैटीरियल की खरीद, कफ सिरप की बिक्री रिकॉर्ड और एक्सपोर्ट किए स्टॉक का रिकॉर्ड शामिल है।
वहीं इस मामले में गांबिया सरकार ने भी कंपनी को नोटिस भेजा है। केंद्रीय टीमों ने यह नोटिस प्लांट के बाहर चस्पा कर दिए हैं। गांबिया की मेडिसिन्स कंट्रोल एजेंसी (MCA) द्वारा जारी नोटिस में मैडेन फार्मास्युटिकल्स लिमिटेड से आयात किए गए दूषित, घटिया और नकली औषधीय उत्पादों को वापस लेने का निर्देश दिया है। इनमें सीरप, टैबलेट, कैप्सूल, इंजेक्शन आदि कई दवाएं शामिल हैं।