ग्रीन फील्ड कॉलोनी, सेक्टर 41./42 को टेकओवर करने को लेकर बुधवार को नगर निगम कमिश्नर जितेंद्र दहिया ने बड़खल विधायक सीमा त्रिखा समेत स्थानीय प्रतिनिधियों और विभिन्न विभागों के अधिकारियों के साथ मंथन बैठक की। बैठक में कॉलोनी को टेकओवर करने से पहले भाैतिक सत्यापन और मूलभूत सुविधाओं की जानकारी कर रिपोर्ट तैयार पर विचार किया गया।
बता दें कि यह मामला पिछले दिनों ग्रीवांस कमेटी की बैठक में भी उठा था, जिसमें कमेटी के चेयरमैन डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला ने कमेटी बनाकर हर एक पहलू की जांच कर रिपोर्ट देने का आदेश दिया है। निगम प्रशासन ग्रीन फील्ड कॉलोनी को टेकओवर करने से पहले कॉलोनाइजर पर करीब 99 करोड़ की देनदारी बकाया होने की बात कर रहा है।
दस सदस्यीय बनाई गई है कमेटी
ग्रीवांस कमेटी की बैठक में डिप्टी सीएम ने विधायक बड़खल सीमा त्रिखा, चीफ इंजीनियर नगर निगम, एसई पीडब्ल्यूडी बीएंडआर, एक्सईएन पब्लिक हेल्थ, िजला नगर योजनाकार, शिकायकर्ता रिटा. बिग्रेडियर एके कौशिक, कॉलोनी निवासी अनीता शर्मा, एडवोकेट सन्नी खंडेलवाल आदि की एक कमेटी बनाई। अब ये कमेटी कॉलोनी की जांच पड़ताल कर अपनी रिपोर्ट सौंपेगी। अनीता शर्मा, एडवोकेट सन्नी खंडेलवाल और एडवोकेट श्वेता शर्मा ने बताया कि कॉलोनी को लेकर सभी बिंदुओं पर चर्चा की गई है। जल्द की कमेटी मौके का मु़आयना करेगी।
बैठक में ये लिया गया निर्णय
बुधवार को निगम कमिश्नर के साथ हुई बैठक में यह निर्णय लिया गया कि कमेटी के सदस्य मौके पर जाकर मिलने वाली सुविधाओं, वहां की आबादी, खाली पड़े प्लाट, सीवर व पानी आदि की सप्लाई, बिजली की व्यवस्था आदि बिंदुओं की जांच करेंगे। मूलभूत सुविधाओं के लिए निगम पर कितना भार आ सकता है, उसका आंकलन करेंगे। निगम की बिल्डर पर जो देनदारी है वह ठीक है या और हो सकती है, इसका अनुमान लगाएगी। दस नवंबर तक कमेटी रिपोर्ट सौंपेगी।
इनपुट:
ग्रीनफील्ड कॉलोनी यूआईसी कॉलोनाइजर द्वारा 1976 में बसाई गई है।
कॉलोनी 434 एकड़ में फैली है। जिसमें 3713 प्लाट हैं।
कॉलोनी में करीब 8500 परिवार रहता है।
यहां की कुल आबादी करीब 32 से 35 हजार है।
अभी कॉलोनी में करीब 300 प्लाट खाली पड़े हैं।