। दुनिया की सबसे बड़ी एप्पल आईफोन फैक्ट्री में शुरू हुआ विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है। फॉक्सकॉन के 20,000 से अधिक कर्मचारी फैक्ट्री छोड़कर जा चुके हैं। उनमें से ज्यादातर नए कर्मचारी थे जो अभी तक प्रोडक्शन लाइन पर काम नहीं कर रहे थे। इन कर्मियों ने Apple आपूर्तिकर्ता फॉक्सकॉन की फैसिलिटी छोड़ दी है।
चीन में Zhengzhou स्थित इस प्लांट में कई दिनों से अशांति का दौर है। ताइवान की कंपनी फॉक्सकॉन द्वारा नियंत्रित इस फैक्ट्री में पिछले कई हफ़्तों से मजदूरों का प्रदर्शन जारी है। ये मजदूर कोरोना प्रतिबंधों के बाद वेतन में कटौती और खाने-पीने तथा दवाइयों के अभाव की शिकायत कर रहे हैं।
बड़ी संख्या में मजदूरों ने छोड़ी फैक्ट्री
रायटर्स की एक रिपोर्ट में दावा किया गया है कि करीब 20,000 से अधिक कर्मचारियों ने एप्पल की फैक्ट्री छोड़ दी है। उधर फॉक्सकॉन इस उथल-पुथल से उबरने की कोशिश कर रही है। नवंबर की इस हड़ताल ने आईफोन के प्रोडक्शन सिस्टम को हिलाकर रख दिया है। Zhengzhou की यह फैक्ट्री दुनिया की सबसे बड़ी आईफोन फैक्ट्री है।
मजदूरों को 1,400 डॉलर की पेशकश
एप्पल आईफोन निर्माता फॉक्सकॉन मध्य चीनी शहर झेंग्झौ स्थित अपने कारखाने को छोड़ने वाले प्रत्येक नए कर्मचारी को असेम्ब्लिंग फैसिलिटी छोड़ने के लिए 1,400 डॉलर की पेशकश कर रही है। साउथ चाइना मॉर्निंग पोस्ट की रिपोर्ट के अनुसार दुनिया के सबसे बड़े iPhone कारखाने के नए कर्मचारी अगर इस्तीफा देते हैं तो उन्हें तुरंत पैसा मिलेगा।
चीन ने सख्त किया लॉकडाउन
iPhone कारखाने में विरोध के बाद चीन ने झेंग्झौ शहर में सख्त कोविड लॉकडाउन का आदेश दे दिया है। आईफोन की में फैसलिटी पर विरोध प्रदर्शनों की श्रृंखला के बाद चीन ने कई जिलों में एक COVID-19 लॉकडाउन लगाया है। शहर के प्राधिकरण ने शुक्रवार से अगले मंगलवार तक लोगों को अपने घर पर रहने के लिए कहा, क्योंकि सामुदायिक स्तर पर पाए जाने वाले कोरोना के नए मामले बढ़ते जा रहे हैं।