रायबरेली में जेल के बाहर एक सिपाही को पीटने का वीडियो सामने आया है। वीडियो में 5 सिपाही एक साथ एक सिपाही की बेरहमी से लाठी से पिटाई कर रहे हैं। बचाव करने पर सिपाही को जमीन पर गिरा देते हैं और फिर मारते हैं। कुछ समय बाद साथी पुलिसकर्मी आते हैं और उसे बताते हैं। घटना सोमवार देर रात की है।
मामला संज्ञान में आने पर DG ने मारपीट में शामिल पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई की है। DG ने ट्वीट कर बताया कि आरोपी विजय कुमार सिंह, सौरभ कुमार वर्मा, प्रवेश कुमार सिंह, राजीव कुमार शुक्ला और जसवंत तोमर को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है। पांचों सिपाहियों पर विभागीय जांच बैठा दी है। उधर, दूसरे पक्ष से बंदीरक्षक सौरभ वर्मा ने भी पुलिस को तहरीर देकर घायल बंदीरक्षक के खिलाफ मारपीट और अभद्र व्यवहार करने का आरोप लगाया है। वहीं, सिपाही ने जेल अधीक्षक को जांच अधिकारी बनाए जाने पर आपत्ति जताई है।
खाने में गड़बड़ी की बात कर रहे थे आरोपी
हमले में घायल सिपाही मुकेश दुबे ने बताया कि मेरी ड्यूटी भंडारे में लगी हुई है। आरोपी जेल के अंदर कैंटीन चलाते हैं। पिछले एक महीने से कैंटीन चलाने वाले जेल के सिपाही बराबर दबाव बना रहे थे कि कैदियों को मिलने वाले खाने में गड़बड़ी करो, ताकि जेल में बंद बंदी खाना कैंटीन से लें। लेकिन मैंने ईमानदारी से बंदियों को मिलने वाले खाने की गुणवत्ता से कोई समझौता नहीं किया।
मुकेश दुबे ने बताया, “सोमवार शाम छह बजे मैं ड्यूटी समाप्त होने पर कॉलोनी के कमरे में जा रहा था। तभी जेल गेट से चंद कदम दूर बंदीरक्षक विजय सिंह, सौरभ वर्मा, परवेश सिंह, राजीव शुक्ला, जसवंत ने फाइबर की बेंत से हमला कर दिया। आरोपियों ने मुझे जमीन पर गिराकर पीटा।चीख पुकार सुनकर मेरी पत्नी और बच्चे बचाने दौड़े, लेकिन तब तक हमलावर सिपाही मौके से भाग खड़े हुए। आनन फानन मुझे जिला अस्पताल लाया गया, जहां उपचार जारी है।
अखिलेश ने सरकार पर साधा निशाना
वीडियो वायरल होने के बाद सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भी ट्वीट कर भाजपा सरकार पर निशाना साधा है। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार में बेईमान के हाथ में लाठी है और ईमानदार प्रताड़ना का शिकार हो रहा है ऊपर की एक जिला जेल में भ्रष्टाचार के साथ ना देने पर पुलिस वाले ही पुलिस वाले को पीट रहे हैं पुलिस से झूठे मुकदमे करवाने वाली भाजपा सरकार ने पुलिस को भ्रष्ट कर दिया है।
जेल अधीक्षक को जांच अधिकारी बदलने की मांग
जिला कारागार में पिटाई के बाद घायल सिपाही मुकेश का बयान सामने आया है। घायल सिपाही मुकेश ने कहा की जेल अधीक्षक को जांच अधिकारी बनाया गया है। हमलावर जेल अधीक्षक के अर्दली हैं। इससे जांच प्रभावित हो सकती। सिपाही ने जांच अधिकारी को बदलने की मांग की है।
दोनों पक्षों ने एक दूसरे के खिलाफ दी तहरीर
सदर कोतवाल संजय त्यागी ने बताया कि दोनों पक्षों से तहरीर मिली है। घायल बंदीरक्षक की पत्नी रुचि दुबे ने तहरीर में बताया कि उसके पति की ड्यूटी जिला कारागार के अंदर भंडारण कक्ष में रहती है। आरोपी बंदीरक्षक जेल के अंदर कैंटीन संचालित कराते हैं। आरोपी सिपाही पति पर बंदियों के भोजन में मिलावट का दबाव बना रहे थे। विरोध पर उन्होंने पति के साथ मारपीट की।