संघ प्रमुख मोहन भागवत ने कहा कि दुनिया में तीसरे विश्वयुद्ध की आशंका बनी हुई है। उन्होंने कहा कि इस वक्त दुनिया शांति के लिए भारत की ओर देख रही है, लेकिन कुछ लोग अड़ंगा डाल रहे हैं। संघ प्रमुख ने एक बार फिर कहा कि भारत विश्वगुरु बनने की ओर बढ़ रहा है।
भागवत, मध्य प्रदेश के जबलपुर में संघ की नेत्री डॉक्टर उर्मिला जामदार की याद में हुए एक प्रोग्राम में बोल रहे थे।
4 मुद्दों पर मोहन भागवत का बयान
1. तीसरा विश्वयुद्ध: संघ प्रमुख ने कहा कि यूक्रेन-रूस और इजराइल-हमास युद्ध के बीच तीसरे विश्वयुद्ध की छाया पनप रही है। अभी यह नहीं साफ हो पा रहा है कि यह कहां से शुरू होगा, इजराइल से या फिर यूक्रेन से।
2. विज्ञान और हथियार: भागवत बोले कि दुनिया में विज्ञान ने बहुत तरक्की कर ली है, लेकिन इसके फायदे अभी दुनिया के गरीबों तक नहीं पहुंच रहे हैं, लेकिन दुनिया को तबाह करने वाले हथियार हर जगह पहुंच जा रहे हैं। कुछ बीमारियों के लिए दवाएं भले ही ग्रामीण इलाकों तक न पहुंची हों, लेकिन कट्टा यहां पहुंच जाता है।
3. पर्यावरण: संघ प्रमुख ने पर्यावरण पर भी चिंता जताई। उन्होंने कहा कि पर्यावरण ऐसी स्थिति में पहुंच गया है, जहां वह बीमारियों की वजह बन रहा है।
4. सनातन धर्म और हिंदुत्व: भागवत ने कहा कि मानवता की सेवा करना ही सनातन धर्म है और यही हिंदुत्व में भी होता है। हिंदुत्व में दुनिया को रास्ता दिखाने का सामर्थ्य है। भारतीय ग्रंथों में लिखे जाने से बहुत पहले ही हिंदु शब्द अस्तित्व में आ गया था। जनता के बीच पहली बार इसका इस्तेमाल गुरु नानक देव जी ने किया था।