दिल्ली के 40 स्कूलों को सोमवार सुबह ई-मेल के जरिए बम से उड़ाने की धमकी मिली है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक इनमें मदर मैरी स्कूल, ब्रिटिश स्कूल, सलवान पब्लिक स्कूल, कैम्ब्रिज स्कूल शामिल हैं। ऐहतियात के तौर पर सभी स्कूलों से बच्चों को वापस घर भेज दिया गया है।
दिल्ली पुलिस ने बताया कि बम धमकी की सूचना सबसे पहले DPS आरके पुरम से सुबह 7.06 बजे और जीडी गोयनका पश्चिम विहार से सुबह 6.15 बजे मिली। इसके बाद पुलिस, डॉग स्क्वॉड, सर्चिंग स्क्वॉड और फायर ब्रिगेड की टीमें वहां भेजी गईं। हालांकि, तलाशी में कुछ भी संदिग्ध नहीं मिला है।
धमकी ई-मेल के जरिए दी गई। मेल भेजने वाले ने बम विस्फोट न करने के बदले 30 हजार अमेरिकी डॉलर मांगे हैं। यह पहला मौका नहीं है, जब दिल्ली के स्कूलों को बम से उड़ाने की धमकी मिली है। मई 2024 में भी 150 से ज्यादा स्कूलों में बम धमाके की धमकी से जुड़े ईमेल आए थे।
दिल्ली के 40 स्कूलों को सोमवार सुबह ई-मेल के जरिए बम से उड़ाने की धमकी मिली है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक इनमें मदर मैरी स्कूल, ब्रिटिश स्कूल, सलवान पब्लिक स्कूल, कैम्ब्रिज स्कूल शामिल हैं। ऐहतियात के तौर पर सभी स्कूलों से बच्चों को वापस घर भेज दिया गया है।
दिल्ली पुलिस ने बताया कि बम धमकी की सूचना सबसे पहले DPS आरके पुरम से सुबह 7.06 बजे और जीडी गोयनका पश्चिम विहार से सुबह 6.15 बजे मिली। इसके बाद पुलिस, डॉग स्क्वॉड, सर्चिंग स्क्वॉड और फायर ब्रिगेड की टीमें वहां भेजी गईं। हालांकि, तलाशी में कुछ भी संदिग्ध नहीं मिला है।
धमकी ई-मेल के जरिए दी गई। मेल भेजने वाले ने बम विस्फोट न करने के बदले 30 हजार अमेरिकी डॉलर मांगे हैं। यह पहला मौका नहीं है, जब दिल्ली के स्कूलों को बम से उड़ाने की धमकी मिली है। मई 2024 में भी 150 से ज्यादा स्कूलों में बम धमाके की धमकी से जुड़े ईमेल आए थे।
दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह पर निशाना साधा। उन्होंने X पर पोस्ट किया, ‘दिल्ली के लोगों ने दिल्ली में कानून-व्यवस्था की इतनी खराब स्थिति पहले कभी नहीं देखी। अमित शाह जी को आकर दिल्ली के लोगों को जवाब देना चाहिए।’
दिल्ली हाईकोर्ट भी मांग चुका बम की धमकियों पर रिपोर्ट 19 नवंबर को, दिल्ली हाईकोर्ट ने दिल्ली सरकार और पुलिस को बम के खतरों और जुड़ी आपात स्थितियों से निपटने के लिए एक स्टैंडर्ड ऑपरेशन प्रोसीजर (SOP) समेत एक कार्य योजना तैयार करने का निर्देश दिया था। कोर्ट ने इन निर्देशों को पूरा करने के लिए आठ हफ्ते की समय सीमा तय की है।