पूर्व ऑलराउंडर का दावा, बोले- इस खिलाड़ी ने इंग्लैंड को व्हाइट बॉल क्रिकेट में दी ऩई पहचान

इंग्लैंड के पूर्व ऑलराउंडर एंड्रयू फ्लिंटॉफ ने इयोन मोर्गन की प्रशंसा की और कहा कि ‘आधुनिक समय के कप्तान’ ने इंग्लैंड क्रिकेट को व्हाइट बॉल वाले क्रिकेट में पहचान दिलाई है। मंगलवार को कप्तान मोर्गन पहले इंग्लैंड के क्रिकेटर बन गए, जिन्होंने 100 T20 इंटरनेशनल मैच खेले हैं। बाएं हाथ के बल्लेबाज इयोन मोर्गन ने भारत के खिलाफ तीसरे टी20 मैच में अहमदाबाद के नरेंद्र मोदी स्टेडियम में ये उपलब्धि हासिल की।

फ्लिंटॉफ ने इस बात पर प्रकाश डाला कि कैसे इंग्लैंड को खेल के सबसे लंबे प्रारूप में सफलता मिली, लेकिन सफेद गेंद वाले क्रिकेट में मोर्गन ने कुछ ऐसा किया जो कोई अन्य खिलाड़ी कभी नहीं कर सकता था। एंड्रयू फ्लिंटॉफ ने ट्वीट करते हुए लिखा है, “मेरी राय में इंग्लैंड के सबसे बड़े आधुनिक कप्तान के रूप में उन्होंने ऐसा कुछ किया है जो कोई और कभी नहीं कर सकता। हमने हमेशा टेस्ट क्रिकेट में सफलता हासिल की है और हम अब भी करते हैं, लेकिन सफेद गेंद के क्रिकेट में आखिरकार उन्होंने क्रिकेट को एक पहचान दी है और लगातार सबसे अच्छा कर रहे हैं।”

फ्लिंटॉफ ने बेन स्टोक्स के ट्वीट को रिट्वीट किया है, जिसमें स्टोक्स ने मोर्गन को महान बताया है और लिखा है, “इस व्यक्ति ने इंग्लैंड के लिए सफेद गेंद क्रिकेट को बदल दिया, एक महान रोल मॉडल एक महान कप्तान और एक बेहतर इंसान।”  स्टोक्स ने उस तस्वीर को भी शेयर किया है, जब उन पर चार छक्के पड़े थे और टी20 विश्व कप का फाइनल मुकाबला टीम हार गई थी। उस समय स्टोक्स को मोर्गन ने ही संभाला था।

इस हफ्ते की शुरुआत में इंग्लैंड के लिए 100 टी20 इंटरनेशनल मैच खेलने वाले इंग्लैंड के पहले और दुनिया के चौथे क्रिकेटर बनने के बाद मोर्गन स्टार बल्लेबाज जोस बटलर के शब्दों को सुनकर लगभग रो पड़े थे, क्योंकि बटलर ने मैदान पर उतरने से पहले उनके लिए एक स्पीच दी थी। मोर्गन ने इंग्लैंड की जीत के बाद मेजबान प्रसारक को बताया, “मैं ईमानदारी से कहूं तो इसने मुझे रोने पर मजबूर कर दिया था।”

बटलर को लेकर मोर्गन ने कहा, ”इसका एक बहुत बड़ा मतलब था, वह मेरा बहुत अच्छा दोस्त है, हमारे परिवार काफी करीब हैं और 100 मैचों में खेलना मेरे लिए गर्व का क्षण है, लेकिन सिर्फ उन्होंने जो शब्द कहा, उसने वास्तव में मेरे दिल को भर दिया था। मैं इसके लिए बहुत आभारी हूं।” बात अगर फ्लिंटॉफ के बयान की करें तो ये सही भी है, क्योंकि इंग्लैंड को अपनी कप्तानी में उन्होंने विश्व चैंपियन बनाया था। अब टीम सीमित ओवरों की क्रिकेट में शीर्ष पर है।