Myntra पर ₹1654 करोड़ की गड़बड़ी का केस:ED ने विदेशी निवेश के गलत उपयोग का आरोप लगाया, फाइनेंशियल रिकॉर्ड्स की जांच शुरू

ऑनलाइन शॉपिंग प्लेटफॉर्म Myntra और उसकी सहयोगी कंपनियों पर प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने फॉरेन एक्सचेंज मैनेजमेंट एक्ट (FEMA) के उल्लंघन का केस दर्ज किया है। यह मामला करीब 1,654 करोड़ रुपए के विदेशी मुद्रा उल्लंघन से जुड़ा है।

ED को जानकारी मिली थी कि मेसर्स मिंत्रा डिजाइन्स प्राइवेट लिमिटेड और उसकी सहयोगी कंपनियां होलसेल कैश एंड कैरी के नाम पर मल्टी ब्रांड रिटेल कारोबार कर रही थीं। ये विदेशी निवेश (FDI) की नीति के खिलाफ है।

सूत्रों का कहना है कि ED ने कंपनी के कुछ दस्तावेज और फाइनेंशियल रिकॉर्ड्स की भी छानबीन शुरू कर दी है। यह देखा जा रहा है कि क्या Myntra ने विदेशी फंड्स का इस्तेमाल गलत तरीके से किया या नियमों को दरकिनार किया।

क्या है फेमा एक्ट?

FEMA के तहत इस बात कि निगरानी की जाती है कि कोई भी कंपनी या व्यक्ति विदेशी पैसों का गलत इस्तेमाल न करे, जैसे मनी लॉन्ड्रिंग या टैक्स चोरी। यह विदेशी निवेश और व्यापार को आसान बनाता है, लेकिन इसे नियमों के दायरे में रखता है।

फेमा में भारत के सभी विदेशी मुद्रा लेनदेन के लिए प्रक्रियाओं की रूपरेखा दी गई है। इस अधिनियम के तहत ईडी को विदेशी मुद्रा कानूनों और नियमों के संदिग्ध उल्लंघनों की जांच करने, उल्लंघन करने वालों पर कार्रवाई करने और उन पर जुर्माना लगाने की जिम्मेदारी दी गई है।

फ्लिपकार्ट Myntra की पेरेंट कंपनी

फ्लिपकार्ट Myntra की पेरेंट कंपनी है। 2014 में, Myntra को फ्लिपकार्ट ने 2,000 करोड़ रुपए में खरीदा था। जिस समय फ्लिपकार्ट ने Myntra को खरीदा था। उस समय उसके पास 1,000 ब्रांड के कुल 15,000 प्रोडक्ट थे। कंपनी का स्ट्रक्चर चेंज नहीं किया गया, वह आज भी इंडिपेंडेंट ही काम करती है।

Myntra के पास 4 करोड़ ट्रांजैक्शन करने वाले कस्टमर्स

Myntra के पास एक स्ट्रॉन्ग यूजर बेस है। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, कंपनी के पास करीब 4 करोड़ ट्रांजैक्शन करने वाले कस्टमर्स हैं। Myntra का वित्त वर्ष 2021-22 में ऑपरेशंस से रेवेन्यू 3,501 करोड़ रुपए था। वित्त वर्ष 2023 में यह सालाना आधार पर 25% बढ़कर 4,375 करोड़ रुपए हो गया था।

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