4000 से अधिक कर्मचारियों को नौकरी से निकालेगी बायजूस:रिस्ट्रक्चरिंग के तहत छंटनी, इससे पहले 1,000 कर्मचारियों को निकाला था

देश की सबसे बड़ी एजुकेशन-टेक्नोलॉजी कंपनी बायजूस 4000 से अधिक कर्मचारियों की नौकरी से निकालने की योजना बना रही है। मनीकंट्रोल ने सूत्रों के हवाले से इसके बारे में जानकारी दी है।

रिपोर्ट के अनुसार, नए CEO अर्जुन मोहन कंपनी में बड़े पैमाने में बदलाव कर रहे हैं। जिस वजह से एक बार फिर कंपनी में बड़ी छंटनी होने जा रही है। इससे पहले कंपनी ने साल की शुरुआत में 1,000 कर्मचारियों को नौकरी से निकाला था। वहीं, पिछले साल के लास्ट में कंपनी ने 2,500 कर्मचारियों को नौकरी से निकाल दिया था।

सीनियर अधिकारियों को भी नौकरी से निकालेगी बायजूस

नौकरी से निकाले जाने वाले कर्मचारियों में कंपनी के सीनियर अधिकारी शामिल होंगे। इसके जरिए सीनियर मैनेजमेंट एक्सपेंसेज को कम किया जाएगा। रिपोर्ट में बताया गया है कि नए CEO ने पहले ही कंपनी के इस फैसले के बारे में अधिकारियों को बता चुके हैं।

इसके साथ ही परफॉर्मेंस इंप्रूवमेंट प्लान में फेल रहने वाले और कॉन्ट्रैक्ट एम्प्लॉइज को भी निकाला जाएगा। इसके अलावा सेल्स, मार्केटिंग सहित अन्य टीमों के भी कर्मचारी इससे प्रभावित होंगे।

फाइनल स्टेज में बिजनेस रिस्ट्रक्चरिंग एक्सरसाइज
बायजूस के प्रवक्ता ने कहा, ‘हम बिजनेस रिस्ट्रक्चरिंग एक्सरसाइज के फाइनल स्टेज में हैं। इसके जरिए ऑपरेशन रिस्ट्रक्चर को सरल बनाया जाएगा और कैश फ्लो मैनेमेंट को बेहतर किया जाएगा। अगले कुछ हफ्ते में CEO अर्जुन मोहन इस प्रोसेस को पूरा करेंगे और नए व टिकाऊ ऑपरेशन को आगे बढ़ाएंगे।’

हालांकि कंपनी ने इस बात की जानकारी नहीं दी है कि इस रीस्ट्रक्चरिंग से कितने कर्मचारी प्रभावित होंगे।

20 सितंबर को भारतीय ऑपरेशन के CEO बने अर्जुन मोहन
कंपनी ने 20 सितंबर को मृणाल मोहित की जगह अर्जुन मोहन को कंपनी के भारतीय ऑपरेशन के लिए CEO नियुक्त किया है। मोहन पहले कंपनी के मुख्य बिजनेस अधिकारी (CBO) थे।

नकदी की कमी से जूझ रही कंपनी
कंपनी अभी नकदी की कमी से जूझ रही है। नकदी संकट को दूर करने के लिए बायजूस ने अपनी दो प्रमुख संपत्तियों एपिक और ग्रेट लर्निंग को बेचने का फैसला किया है।

इसके साथ ही पिछले कुछ महीनों से कंपनी नियामक जांच का सामना कर रही है। जुलाई में कंपनी के ऑडिटर डेलॉइट हास्किन्स एंड सेल्स ने यह कहते हुए अपने पद से इस्तीफा दे दिया कि एडटेक फर्म को उनके वित्तीय परिणाम तैयार करने में मदद करने में सहयोग नहीं कर रहा है।