नेशनल हेराल्ड मामले में कांग्रेस के नेताओं को नोटिस:ED ने तेलंगाना और आंध्र प्रदेश के नेताओं को पूछताछ के लिए बुलाया

नेशनल हेराल्ड अखबार से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में ED ने तेलंगाना और आंध्र प्रदेश के कुछ कांग्रेसी नेताओं को नोटिस जारी किया है। उन्हें अगले हफ्ते पेश होने के लिए कहा गया है। अधिकारियों ने शुक्रवार को यह जानकारी दी है। एजेंसी ने इससे पहले कांग्रेस नेता राहुल गांधी और कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी से मामले के सिलसिले में पूछताछ की थी।

नेताओं ने नोटिस मिलने से किया इनकार

सूत्रों के मुताबिक, ED ने कांग्रेस नेता सुदर्शन रेड्डी, शब्बीर अली और जे गीता रेड्डी को पूछताछ के लिए बुलाया है। हालांकि, तीनों नेताओं ने नोटिस मिलने की बात से इनकार कर दिया है।

  • पूर्व मंत्री शब्बीर ने कहा कि ED की तरफ से मुझे कोई नोटिस नहीं मिला। अगर नोटिस मिलता तो मैं जरूर बताता।
  • गीता रेड्डी ने भी कहा कि मुझे जांच एजेंसी से कोई नोटिस नहीं मिला है।
  • सिकंदराबाद के पूर्व सांसद अंजन कुमार यादव ने भी नोटिस मिलने से इनकार किया।

डी के शिवकुमार ने ED से मांगा समय
कर्नाटक कांग्रेस के अध्यक्ष डी के शिवकुमार ने कुछ दिन पहले दिल्ली में ED की तरफ से पूछताछ करने की बात कही थी। उन्होंने 19 सितंबर को कहा था कि मुझसे नेशनल हेराल्ड कंपनी के साथ किए गए कुछ लेनदेन के बारे में पूछताछ हुई।

शिवकुमार ने कहा कि मैंने अपनी संपत्ति और देनदारियों के बारे में विस्तार से बताने के लिए एजेंसी से और समय मांगा है।

ED ने सोनिया से किए थे 100 से ज्यादा सवाल
पहली बार सोनिया 21 जुलाई को ED दफ्तर पहुंची थीं, यहां उनसे 3 घंटे पूछताछ हुई। इसके बाद 5 दिन का ब्रेक मिला। इसके बाद ED ने उन्हें 26 जुलाई को बुलाया गया और 6 घंटे तक सवाल किए। फिर 27 जुलाई को ED ने सोनिया को पूछताछ के लिए बुलाया, यहां एजेंसी ने उनसे 3 घंटे पूछताछ की। कुल 12 घंटे हुई पूछताछ के दौरान उनसे 100 से ज्यादा सवाल किए गए हैं।

राहुल के जवाबों से असंतुष्ट थी एजेंसी
राहुल गांधी से 5 दिन की पूछताछ में ED ने कई सवाल ही पूछे। सूत्रों के मुताबिक, पूछताछ में ED अफसर उनके जवाबों से असंतुष्ट नजर आए। पूछताछ में राहुल ने यंग इंडिया लिमिटेड को नो प्रॉफिट नो लॉस वाली कंपनी बताया। ED अधिकारियों ने सामाजिक कार्यों को गिनाने को कहा था, जो इस कंपनी के जरिए किए गए।

नेशनल हेराल्ड केस क्या है?
BJP नेता सुब्रमण्यम स्वामी ने 2012 में दिल्ली के पटियाला हाउस कोर्ट में एक याचिका दाखिल करते हुए सोनिया गांधी, राहुल गांधी और कांग्रेस के ही मोतीलाल वोरा, ऑस्कर फर्नांडीज, सैम पित्रोदा और सुमन दुबे पर घाटे में चल रहे नेशनल हेराल्ड अखबार को धोखाधड़ी और पैसों की हेराफेरी के जरिए हड़पने का आरोप लगाया था।

आरोप के मुताबिक, इन कांग्रेसी नेताओं ने नेशनल हेराल्ड की संपत्तियों पर कब्जे के लिए यंग इंडियन लिमिटेड, यानी YIL नाम का आर्गनाइजेशन बनाया और उसके जरिए नेशनल हेराल्ड का प्रकाशन करने वाली असोसिएटेड जर्नल लिमिटेड, यानी AJL का अवैध तरीके से अधिग्रहण कर लिया। स्वामी का आरोप था कि ऐसा दिल्ली के बहादुर शाह जफर मार्ग स्थित हेराल्ड हाउस की 2000 करोड़ रुपए की बिल्डिंग पर कब्जा करने के लिए किया गया था।