PAK आतंकी हमले के बाद दहशत में चीनी नागरिक:चीन ने 3 डैम प्रोजेक्ट्स रोके; अपने 1500 नागरिकों को पाकिस्तान से निकाल रहा

पाकिस्तान के शांगला जिले में चीनी इंजीनियरों की बस पर तीन दिन पहले आत्मघाती हमला और उसमें 5 इंजीनियरों के मारे जाने के बाद चीनी कर्मचारी दहशत में हैं। बड़ी संख्या में कर्मचारियों ने अपने अफसरों से कह दिया है कि अब पाकिस्तान में काम नहीं कर सकते।

इसके बाद चीन ने खैबर पख्तूनख्वा में तीन बांध परियोजनाओं का काम बंद कर दिया है। साथ ही वह अपने 1500 नागरिकों को वहां से निकाल रहा है। पाकिस्तानी अधिकारियों को इस बारे में सूचना दे दी गई है। तीनों परियोजनाएं 9860 मेगवाट की हैं।

स्थानीय कर्मचारियों को अगले आदेश तक घर जाने को कहा
4320 मेगावाट बिजली क्षमता की दासू बांध परियोजना जिला कोहिस्तान में है। ये प्रांतीय राजधानी पेशावर से 350 किमी दूर है। मारे गए इंजीनियर इसी साइट के थे। वहां 741 चीनी और 6,000 स्थानीय कर्मचारी हैं। वहां से चीनी नागरिकों को निकाला जा रहा है।

स्थानीय कर्मियों को अगले आदेश तक घर जाने के लिए कह दिया गया है। परियोजना के एक अधिकारी ने भास्कर को बताया कि हमले के बाद चीनी कर्मचारी डर गए ​थे। उन्होंने अपने वरिष्ठों से कह दिया ​कि वे आगे काम नहीं कर सकते।

एक परियोजना इसी साल पूरी होनी है

  • मोहमंद बांध: स्वात नदी पर स्थित बांध को इसी साल पूरा किया जाना है। 740 मेगावाट पनबिजली पैदा होगी। 250 चीनी कर्मचारी काम कर रहे।
  • दासू बांध: इसे 2025 में पूरा होना है।
  • डायमर-बाषा बांध: सिंधु नदी पर 2029 तक बनना है। क्षमता 4,800 मेगावाट। यहां 500 चीनी कर्मचारी हैं।

सूत्रों का कहना है कि दासू और डायमर-बाषा बांधों से चीनी नागरिकों को सैन्य हेलिकॉप्टरों से निकाला जाएगा या सड़क मार्ग पर कर्फ्यू लगाकर जाया जाएगा। इससे पहले, मंगलवार को हमले के बाद चीन ने तारबेला बांध एक्सटेंशन 5 पर काम रोक दिया था। फिर दासू, डायमर-बाषा और मोहमंद बांधों पर भी काम बंद ​कर दिया। इन साइट्स के चीनी नागरिक शनिवार तक चीन के लिए उड़ान भर सकते हैं।